गुलामी उन्मूलन के लिए अंतर्राष्ट्रीय दिवस 2 दिसंबर को मनाया जाता है ताकि आधुनिक गुलामी और मानव तस्करी के प्रति जागरूकता बढ़ाई जा सके और मानवाधिकारों को बढ़ावा दिया जा सके। यह दिन 1949 में तस्करी और शोषण को रोकने के लिए संयुक्त राष्ट्र संधि के अंगीकरण का प्रतीक है। आज की गुलामी में जबरन श्रम, यौन शोषण, बाल श्रम और जबरन विवाह शामिल हैं। संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट के अनुसार, दुनिया भर में हर दस में से एक बच्चा मुख्य रूप से आर्थिक शोषण के लिए काम करता है। भारत में सबसे अधिक आधुनिक गुलाम हैं, जिनकी संख्या 11 मिलियन से अधिक है।
                    
                    
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