स्वराज पार्टी की स्थापना 9 जनवरी 1923 को भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के उन सदस्यों ने की थी जो 5 फरवरी 1922 को गांधीजी द्वारा असहयोग आंदोलन के निलंबन का विरोध कर रहे थे और उनकी रणनीति व राजनीतिक सोच से असंतुष्ट थे। इसके सह-संस्थापक चित्तरंजन दास, मोतीलाल नेहरू, विट्ठलभाई पटेल (वल्लभभाई पटेल के बड़े भाई), नरसिंह चिंतामण केलकर आदि थे। इसके बाद कांग्रेस में दो गुट बने—स्वराजवादी (परिवर्तन समर्थक) और नो-चेंजर (महात्मा गांधी के समर्थक)।
This Question is Also Available in:
English