इसरो (ISRO) ने 3 वेंटिलेटर विकसित किए

भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के विक्रम साराभाई अंतरिक्ष केंद्र (VSSC) ने तीन प्रकार के लागत प्रभावी (cost-effective) वेंटिलेटर और एक ऑक्सीजन कंसन्ट्रेटर विकसित किया है।
मुख्य बिंदु
- इन 3 वेंटिलेटर को प्राण, वायुऔर स्वस्थ नाम दिया गया है जबकि ऑक्सीजन सिलेंडर का नाम ‘श्वास’ (Shwaas) रखा गया है।
- यह तीनों यूजर्स के अनुकूल हैं और टच-स्क्रीन विनिर्देशों के साथ पूरी तरह से ऑटोमेटेड हैं।यह सभी सुरक्षा मानकों को पूरा करते हैं।
- VSSC इन तीन वेंटिलेटर और एक ऑक्सीजन कंसन्ट्रेटर के व्यावसायिक उत्पादन के लिए प्रौद्योगिकी हस्तांतरित करेगा।
- मिनी पारंपरिक वेंटिलेटर की तुलना में इस वेंटिलेटर की कीमत लगभग ₹1 लाख होने की संभावना है, मिनी पारंपरिक वेंटिलेटर की कीमत लगभग ₹5 लाख है।
प्राण, वायु, स्वस्थ और श्वास के बारे में
- प्राण वेंटिलेटर (Prana ventilator) Ambu bag के स्वचालित संपीड़न द्वारा रोगी को श्वसन गैस वितरित करेगा
- स्वस्थ वेंटिलेटर (Svasta ventilator) बिना बिजली के काम करेगा
- वायु (VaU) उपयोग में आने वाले वाणिज्यिक हाई-एंड वेंटिलेटर के समान एक कम लागत वाला वेंटिलेटर है।
- श्वास ऑक्सीजन सिलेंडर प्रति मिनट 10 लीटर समृद्ध ऑक्सीजन की आपूर्ति करने में सक्षम है और एक समय में दो रोगियों के लिए पर्याप्त है।
विक्रम साराभाई अंतरिक्ष केंद्र (VSSC)
VSSC एक प्रमुख अंतरिक्ष अनुसंधान केंद्र है जो भारत में उपग्रह कार्यक्रमों के लिए रॉकेट और अंतरिक्ष वाहनों पर कार्य करता है। यह त्रिवेंद्रम (केरल) में स्थित है। इसका नाम बदलकर डॉ. विक्रम साराभाई के सम्मान में रखा गया, जिन्हें भारतीय अंतरिक्ष कार्यक्रम के जनक के रूप में जाना जाता है।
Originally written on
June 8, 2021
and last modified on
June 8, 2021.