विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस 2025: संवेदना, समझ और सहयोग की दिशा में एक वैश्विक प्रयास

विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस 2025: संवेदना, समझ और सहयोग की दिशा में एक वैश्विक प्रयास

हर साल 10 सितंबर को मनाया जाने वाला विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस (World Suicide Prevention Day) वैश्विक स्तर पर मानसिक स्वास्थ्य के महत्व, आत्महत्या की रोकथाम, और इस संवेदनशील विषय पर जागरूकता बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण अवसर बन चुका है। वर्ष 2003 से अंतर्राष्ट्रीय आत्महत्या रोकथाम संघ (IASP) द्वारा इस दिवस का आयोजन किया जा रहा है, जिसमें विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) सह-प्रायोजक है।

आत्महत्या: एक वैश्विक संकट

आंकड़ों के अनुसार, 2021 में विश्वभर में 727,000 से अधिक लोगों ने आत्महत्या की, और प्रत्येक आत्महत्या के पीछे औसतन 20 प्रयास दर्ज किए गए। 15 से 29 वर्ष की आयु के युवाओं में यह मृत्यु का तीसरा प्रमुख कारण है। यह स्थिति स्पष्ट करती है कि आत्महत्या अब केवल व्यक्तिगत नहीं, बल्कि सार्वजनिक स्वास्थ्य का भी गंभीर मुद्दा है।

2024–2026 की थीम: “Changing the Narrative on Suicide”

इस थीम का उद्देश्य है आत्महत्या से जुड़े मिथकों को चुनौती देना, कलंक को कम करना और करुणामय संवाद को बढ़ावा देना। यह संदेश देता है कि आत्महत्या को रोकना संभव है—यदि हम मिलकर सहयोग, संवेदना और सही जानकारी से आगे बढ़ें।

भारत की स्थिति और सरकारी प्रयास

भारत में आत्महत्या एक अत्यंत गंभीर सामाजिक और स्वास्थ्य संकट है। हर साल 1 लाख से अधिक लोग आत्महत्या के कारण अपनी जान गंवाते हैं

  • महिलाओं की आत्महत्या में भारत का वैश्विक आंकड़े में एक-तिहाई योगदान है, जबकि पुरुषों की आत्महत्या में एक-चौथाई।
  • राज्यवार अंतर: बिहार में आत्महत्या दर सबसे कम (0.6 प्रति लाख), जबकि सिक्किम (43.1 प्रति लाख) सबसे अधिक है।
  • शहरी क्षेत्र: विजयवाड़ा और कोल्लम जैसे शहरों में उच्चतम दरें दर्ज की गईं।

राष्ट्रीय रणनीतियाँ और पहल

भारत ने 2022 में अपनी पहली राष्ट्रीय आत्महत्या रोकथाम रणनीति (National Suicide Prevention Strategy) शुरू की, जिसका लक्ष्य 2030 तक आत्महत्या मृत्यु दर में 10% की कमी करना है।
इस लक्ष्य की पूर्ति के लिए सरकार ने कई बहु-क्षेत्रीय कार्यक्रम शुरू किए हैं:

  • Tele-MANAS: मानसिक स्वास्थ्य सहायता के लिए राष्ट्रीय दूरसंचार नेटवर्क।
  • DMHP (जिला मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम): स्थानीय स्तर पर उपचार और परामर्श की सुविधा।
  • RKSK (राष्ट्रीय किशोर स्वास्थ्य कार्यक्रम): किशोरों की मानसिक, शारीरिक और सामाजिक देखभाल।
  • Manodarpan: छात्रों, शिक्षकों और अभिभावकों के लिए परामर्श और मानसिक सहायता।

दिल्ली मेट्रो की 2024 की पहल

2024 में दिल्ली मेट्रो रेल निगम (DMRC) ने विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस पर विशेष जागरूकता अभियान चलाया। इसके अंतर्गत मेट्रो स्टेशनों पर बैनर, डिजिटल डिस्प्ले, और सोशल मीडिया अभियानों के माध्यम से सकारात्मक संदेशों का प्रसार किया गया। इस पहल ने यात्रियों को मानसिक स्वास्थ्य के प्रति संवेदनशील और सजग बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।

खबर से जुड़े जीके तथ्य

  • विश्व आत्महत्या रोकथाम दिवस की शुरुआत 2003 में IASP द्वारा की गई थी।
  • 2022 में भारत ने आत्महत्या रोकथाम के लिए पहली राष्ट्रीय रणनीति लागू की।
  • राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) के अनुसार, 2017 में आत्महत्या दर 9.9 प्रति लाख थी जो 2022 में 12.4 हो गई।
  • मनोदर्पण पहल ‘आत्मनिर्भर भारत अभियान’ के अंतर्गत शिक्षा मंत्रालय द्वारा शुरू की गई थी।
Originally written on September 11, 2025 and last modified on September 11, 2025.

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