केंद्रीय कर्मचारियों के लिए UPS में इस्तीफे पर पेंशन नियम स्पष्ट
केंद्रीय कर्मचारियों के लिए अप्रैल 2025 से लागू हुई “यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS)” को लेकर एक अहम स्पष्टीकरण जारी किया गया है। कार्मिक, लोक शिकायत एवं पेंशन विभाग (DoPPW) ने 29 अक्टूबर 2025 को जारी कार्यालय ज्ञापन के माध्यम से UPS के अंतर्गत इस्तीफा देने की स्थिति में कर्मचारियों की पेंशन पात्रता को लेकर विस्तृत दिशा-निर्देश दिए हैं।
UPS में इस्तीफे का प्रभाव
UPS के अंतर्गत यदि कोई कर्मचारी स्वेच्छा से सरकारी सेवा से इस्तीफा देता है, तो उसे “आश्वस्त पेंशन लाभ” का अधिकार नहीं रहेगा। यह नियम राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (NPS) के मौजूदा प्रावधानों के अनुरूप है। केवल ऐसी स्थिति में ही लाभ सुरक्षित रहेगा जब इस्तीफा ‘जनहित’ में वापस ले लिया जाए। हालांकि, कर्मचारी द्वारा सेवा काल में जमा किया गया पेंशन कोष (पेंशन कॉर्पस) पूरी तरह लौटाया जाएगा।
पेंशन कोष भुगतान की समयसीमा
स्पष्टीकरण में यह भी बताया गया है कि इस्तीफे की प्रभावी तिथि से 90 दिनों के बाद ही पेंशन कॉर्पस का एकमुश्त भुगतान किया जाएगा। यह अवधि प्रशासनिक जांच और पेंशन प्राधिकरण के दिशानिर्देशों के अनुपालन हेतु निर्धारित की गई है। यदि इस्तीफे के बाद 90 दिनों की अवधि पूरी होने से पहले कर्मचारी की मृत्यु हो जाती है, तो वह जमा राशि उसके जीवनसाथी या कानूनी उत्तराधिकारी को हस्तांतरित कर दी जाएगी।
UPS और NPS के बीच बदलाव का विकल्प
UPS के अंतर्गत आने वाले कर्मचारी सेवा के दौरान एक बार NPS में वापसी कर सकते हैं। यह विकल्प तीन विशेष स्थितियों में उपलब्ध है:
- सेवानिवृत्ति से 12 महीने पहले
- स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति से 3 महीने पहले
- इस्तीफे या जबरन सेवानिवृत्ति (नियम 56(j) के तहत) के समय
इस बदलाव के बाद कर्मचारी को NPS के तहत 14% सरकारी योगदान मिलेगा, लेकिन UPS के अंतर्गत मिलने वाला आश्वस्त भुगतान अधिकार समाप्त हो जाएगा।
खबर से जुड़े जीके तथ्य
- यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) 1 अप्रैल 2025 से प्रभावी हुई।
- UPS के तहत इस्तीफे की स्थिति में आश्वस्त पेंशन लाभ नहीं मिलेगा।
- जमा पेंशन राशि 90 दिन बाद एकमुश्त दी जाएगी।
- UPS से NPS में वापसी का विकल्प सेवा काल में केवल एक बार उपलब्ध है।