2025 में वैश्विक मानवीय सहायता में यूएई तीसरा सबसे बड़ा दाता देश
संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) ने वैश्विक मानवीय सहायता के क्षेत्र में अपनी उल्लेखनीय भूमिका को और सुदृढ़ करते हुए वर्ष 2025 में दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा दाता देश बनने का गौरव हासिल किया है। संयुक्त राष्ट्र की नवीनतम रिपोर्ट में यह उपलब्धि दर्ज की गई है, जिससे यूएई की वैश्विक स्तर पर मानवीय प्रतिबद्धता को नई पहचान मिली है।
संयुक्त राष्ट्र के आंकड़ों में यूएई की स्थिति
संयुक्त राष्ट्र के वित्तीय ट्रैकिंग सेवा (UN Financial Tracking Service) के अनुसार, यूएई ने वर्ष 2025 में कुल 1.46 अरब डॉलर की मानवीय सहायता प्रदान की। यह योगदान केवल संयुक्त राज्य अमेरिका और यूरोपीय संघ से पीछे है, जिससे यूएई विश्व का सबसे बड़ा व्यक्तिगत दाता देश बन गया है। इस रिपोर्ट के अनुसार, यूएई का योगदान कुल वैश्विक मानवीय फंडिंग का लगभग 7.2 प्रतिशत है, जो कुल 20.28 अरब डॉलर तक पहुंची।
यूएई की सहायता का स्वरूप और उद्देश्य
यूएई की सहायता केवल आपातकालीन राहत तक सीमित नहीं है, बल्कि यह दीर्घकालिक पुनर्वास और विकास परियोजनाओं तक विस्तृत है। इसके तहत स्वास्थ्य, शिक्षा, ऊर्जा और बुनियादी ढांचे से जुड़े कार्यक्रमों को सहयोग दिया जाता है। हाल के वर्षों में यूएई ने न केवल संकटग्रस्त क्षेत्रों में राहत सामग्री पहुंचाई है, बल्कि उन इलाकों में स्थायी पुनर्निर्माण कार्यों को भी समर्थन दिया है।
मानवीय नीति का सिद्धांत और दृष्टिकोण
यूएई की मानवीय नीति निष्पक्षता और समावेशिता के सिद्धांतों पर आधारित है। इसकी सहायता किसी भी देश, जाति, धर्म या समुदाय के भेदभाव के बिना दी जाती है। यूएई का यह दृष्टिकोण इसे उन देशों में अग्रणी बनाता है जो मानवीय मूल्यों को राजनीति से ऊपर रखते हैं। सरकार का कहना है कि त्वरित राहत और दीर्घकालिक विकास का संतुलन ही इसकी रणनीति का मूल आधार है।
खबर से जुड़े जीके तथ्य
- यूएई ने 2025 में कुल 1.46 अरब डॉलर की मानवीय सहायता दी।
- यह संयुक्त राज्य अमेरिका और यूरोपीय संघ के बाद तीसरा सबसे बड़ा दाता देश है।
- इसका योगदान वैश्विक मानवीय सहायता का 7.2% है।
- फिलिस्तीन को यूएई की सहायता का सबसे बड़ा हिस्सा मिला, इसके बाद सूडान, सीरिया, यूक्रेन और अफगानिस्तान को मदद दी गई।
यूएई की वैश्विक मानवीय भूमिका यह दर्शाती है कि आर्थिक समृद्धि के साथ सामाजिक उत्तरदायित्व को प्राथमिकता देना उसके विकास मॉडल का अभिन्न हिस्सा है। अपने तटस्थ और दूरदर्शी दृष्टिकोण के चलते यूएई न केवल क्षेत्रीय बल्कि वैश्विक स्तर पर मानवीय नेतृत्व का प्रतीक बन चुका है।