2020 में अदालतों में 99% POCSO मामले लंबित (pending) हैं : रिपोर्ट
प्रजा फाउंडेशन ने 25 नवंबर, 2021 को पोस्को मामलों पर अपनी रिपोर्ट प्रकाशित की।
रिपोर्ट के प्रमुख निष्कर्ष
- इस रिपोर्ट में बताया गया है कि, बच्चों के खिलाफ अपराधों में कमी के बावजूद, यौन अपराधों के खिलाफ बच्चों के संरक्षण (Protection of Children Against Sexual Offences – POCSO) के तहत दिसंबर 2020 तक 99 प्रतिशत मामलों की सुनवाई अभी भी लंबित थी।
- 2020 में कुल 1,197 मामलों में से 94% लड़कियां पीड़ित थीं। इन मामलों में से 721 बलात्कार के मामले थे जबकि 376 यौन उत्पीड़न के मामले थे।
- कुल बलात्कार के मामलों में से 42% 2020 में 18 वर्ष से कम उम्र के बच्चों के खिलाफ थे, जबकि 2018 में 47% मामले और 2019 में 45% मामले थे।
- बलात्कार पीड़ितों की सबसे अधिक संख्या (2020 में 721 में से 620) 12 से 18 वर्ष के आयु वर्ग के थे।
- बलात्कार के कुल मामलों में से 95% मामलों में अपराधी पीड़ितों के परिचित थे।
- पॉक्सो एक्ट के तहत लड़कों के खिलाफ 67 मामलों में से 93% अप्राकृतिक अपराध थे।
IPC मामले
इस रिपोर्ट के अनुसार, 2020 में जांच किए गए कुल IPC मामलों में से केवल 28% मामलों में चार्जशीट दायर की गई थी। इसमें पाया गया कि महिलाओं के खिलाफ अपराध के 58% मामलों के साथ-साथ बच्चों के खिलाफ 56% अपराधों की जांच पूरी नहीं हुई थी। यह आगे नोट करता है कि, पुलिस उप-निरीक्षकों की 20% कमी थी, जिसके परिणामस्वरूप कम जांच हुई। दिसंबर 2020 तक, बच्चों के खिलाफ अपराध के 99 प्रतिशत मामलों का परीक्षण लंबित था।
Originally written on
November 27, 2021
and last modified on
November 27, 2021.