वित्त मंत्रालय ने राज्यों को राजस्व घाटा अनुदान (Revenue Deficit Grants) जारी किया

वित्त मंत्रालय ने राज्यों को राजस्व घाटा अनुदान (Revenue Deficit Grants) जारी किया

वित्त मंत्रालय ने 9 सितंबर, 2021 को 17 राज्यों को 9,871 करोड़ रुपये के राजस्व घाटा अनुदान की छठी मासिक किस्त जारी की।

मुख्य बिंदु 

  • 15वें वित्त आयोग की सिफारिशों पर 17 राज्यों को 2021-22 के लिए अनुदान जारी किया गया।
  • यह अनुदान भारतीय संविधान के अनुच्छेद 275 के अनुसार जारी किए गए थे। अनुच्छेद 275 के तहत, राज्यों को हस्तांतरण के बाद राजस्व घाटा अनुदान प्रदान किया जाता है।
  • राज्यों के राजस्व खातों में अंतर को पूरा करने के लिए मासिक किश्तों में 15वें वित्त आयोग की सिफारिशों पर अनुदान जारी किया जाता है।
  • यह छठी मासिक किस्त व्यय विभाग द्वारा जारी की गई थी।
  • चालू वित्त वर्ष में अब तक पात्र राज्यों के लिए कुल 59,226 करोड़ रुपये जारी किए जा चुके हैं।

राज्यों की पात्रता कौन तय करता है?

इस अनुदान को प्राप्त करने के लिए राज्यों की पात्रता और अनुदान की मात्रा का निर्धारण राज्य के राजस्व और व्यय के आकलन के बीच के अंतर के आधार पर वित्त आयोग द्वारा किया जाता है। यह आयोग संबंधित वित्तीय वर्ष के लिए निर्धारित हस्तांतरण को भी ध्यान में रखता है।

इस वर्ष किन राज्यों को अनुदान मिला?

15वें वित्त आयोग ने अनुदान प्राप्त करने के लिए राज्यों के नामों की सिफारिश की। इनमें शामिल हैं- असम, आंध्र प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, केरल, कर्नाटक, मेघालय, मणिपुर, मिजोरम, सिक्किम, नागालैंड, पंजाब, राजस्थान, त्रिपुरा, तमिलनाडु, उत्तराखंड और पश्चिम बंगाल।

15वें वित्त आयोग की सिफारिश

15वें वित्त आयोग ने 2021-22 में 17 राज्यों के लिए कुल राजस्व घाटा अनुदान 1,18,452 करोड़ रुपये की सिफारिश की है। इसमें से 59,226 करोड़ रुपये यानी 50% अब तक जारी किया जा चुका है।

 

Originally written on September 11, 2021 and last modified on September 11, 2021.

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