विक्रम-32 से भारत की सेमीकंडक्टर क्रांति की शुरुआत: तकनीक से भू-राजनीति तक का सफर

हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सेमीकॉन इंडिया सम्मेलन के दौरान भारत के पहले स्वदेशी माइक्रोप्रोसेसर “विक्रम-32” का अनावरण किया। यह मात्र एक तकनीकी उपलब्धि नहीं है, बल्कि यह उस व्यापक बदलाव का संकेत है जहां भारत सेमीकंडक्टर निर्माण में आत्मनिर्भर बनने की दिशा में अग्रसर हो रहा है — ऐसे समय में जब चिप्स केवल तकनीक नहीं, बल्कि वैश्विक भू-राजनीति का प्रमुख हथियार बन चुके हैं।

विक्रम-32: भारत की आत्मनिर्भर चिप

विक्रम-32, जिसे ISRO द्वारा डिजाइन किया गया है और मोहाली स्थित सेमीकंडक्टर कॉम्प्लेक्स लिमिटेड (SCL) में निर्मित किया गया है, भारत का पहला स्वदेशी 32-बिट माइक्रोप्रोसेसर है। यह 180nm तकनीक पर आधारित है — जो भले ही 3nm जैसी अत्याधुनिक वैश्विक तकनीकों से पीछे हो, पर यह एक मजबूत नींव है। इसका मतलब है कि भारत अब केवल चिप्स आयात करने तक सीमित नहीं रहेगा, बल्कि उन्हें खुद डिज़ाइन और निर्मित भी करेगा।

भारत की चिप तकनीक में देरी के कारण

यह जानना दिलचस्प है कि SCL की स्थापना 1984 में हुई थी — ताइवान की प्रसिद्ध TSMC कंपनी की स्थापना से तीन साल पहले। उस समय SCL उन्नत DRAM चिप्स बनाता था और वैश्विक कंपनियों के साथ साझेदारी में था। लेकिन 1989 की एक भीषण आग ने SCL की प्रगति को रोक दिया और भारत की चिप निर्माण यात्रा दशकों पीछे चली गई।
इसके बाद, 1991 की उदारीकरण नीति के बाद भारत ने चिप डिज़ाइन में वैश्विक उपस्थिति बनाई, लेकिन निर्माण (fabrication) के क्षेत्र में पिछड़ गया। कई वैश्विक कंपनियां जैसे AMD भारत की नौकरशाही समस्याओं के कारण अन्य एशियाई देशों में चली गईं।

भारत की नई रणनीति: सेमीकंडक्टर मिशन

2021 में भारत सरकार ने ₹76,000 करोड़ की लागत से ‘इंडिया सेमीकंडक्टर मिशन (ISM)’ की शुरुआत की। इसका उद्देश्य डिज़ाइन से लेकर फैब्रिकेशन, असेंबली और मानव संसाधन विकास तक सेमीकंडक्टर का पूरा इकोसिस्टम तैयार करना है। ISM के तहत ग्लोबल कंपनियों जैसे Micron और घरेलू कंपनियों जैसे Tata Electronics ने भारत में अपने प्लांट लगाने की घोषणा की है।
साथ ही, IISc जैसे संस्थानों के साथ साझेदारी के माध्यम से अगले 10 वर्षों में 60,000 सेमीकंडक्टर इंजीनियर तैयार करने का लक्ष्य रखा गया है।

खबर से जुड़े जीके तथ्य

  • विक्रम-32 भारत का पहला स्वदेशी 32-बिट माइक्रोप्रोसेसर है, जो ISRO द्वारा डिज़ाइन और SCL मोहाली में निर्मित किया गया है।
  • SCL (Semiconductor Complex Ltd) की स्थापना 1984 में हुई थी, जबकि TSMC की 1987 में।
  • इंडिया सेमीकंडक्टर मिशन (ISM) को 2021 में ₹76,000 करोड़ के बजट के साथ लॉन्च किया गया।
  • भारत में सेमीकंडक्टर क्षेत्र में अब तक Micron, Tata Electronics जैसे बड़े नाम निवेश की घोषणा कर चुके हैं।

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