भारत में बिजली गिरने से बढ़ती मौतें: जलवायु परिवर्तन और जागरूकता की चुनौती

अप्रैल से जुलाई 2025 के बीच बिजली और बारिश से 1,621 लोगों की मौत हुई, जिसमें सिर्फ 10 से 12 अप्रैल के बीच बिहार और उत्तर प्रदेश में 100 मौतें दर्ज की गईं, ज्यादातर किसान खेतों में काम करते समय मारे गए। राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) के अनुसार, 2002 से 2024 के बीच भारत में मौसम से जुड़ी मौतों में लगभग 46% केवल बिजली गिरने से हुईं। 1967 से 2020 तक यह संख्या 1,01,000 से अधिक रही।
जलवायु परिवर्तन और बढ़ता खतरा
IMD और CROPC के आंकड़ों के अनुसार, FY20 में 5.17 मिलियन से FY25 में बिजली गिरने की घटनाएं 400% बढ़कर 20 मिलियन से अधिक हो गई हैं।
- पहले पूर्वी भारत बिजली गिरने का मुख्य केंद्र था, लेकिन अब यह मध्य, उत्तर, उत्तर-पूर्व, तटीय और हिमालयी क्षेत्रों तक फैल गया है।
- मध्य प्रदेश अब सबसे ज्यादा प्रभावित राज्य है, जबकि राजस्थान के बीकानेर और चुरु जिले शीर्ष हॉटस्पॉट बन गए हैं।
- जलवायु परिवर्तन तापमान और आर्द्रता बढ़ाकर आंधी-तूफान के लिए अनुकूल परिस्थितियां पैदा कर रहा है।
विशेषज्ञों के अनुसार, हर 1°C तापमान वृद्धि पर आर्द्रता में 7% की वृद्धि होती है, जिससे बिजली गिरने की संभावना 10-12% तक बढ़ सकती है। बंगाल की खाड़ी का समुद्री तापमान 4°C बढ़ने से पूर्वी राज्यों में नमी और बिजली का खतरा बढ़ा है।
शहरी क्षेत्रों में नया खतरा
पहले बिजली गिरने की घटनाएं ग्रामीण इलाकों में ज्यादा होती थीं, लेकिन अब तेजी से बढ़ते शहरी क्षेत्रों में भी यह खतरा बढ़ रहा है।
- शहरी हीट आइलैंड प्रभाव, वायु प्रदूषण और तेज निर्माण गतिविधियां आंधी-तूफान की तीव्रता बढ़ा रही हैं।
- 2024-25 में दिल्ली में कई बड़ी बिजली गिरने की घटनाएं दर्ज की गईं, जिनमें 28 जून 2024 की घटना भी शामिल है, जो IGI एयरपोर्ट के टर्मिनल-1 की दीवार गिरने के साथ हुई थी।
खबर से जुड़े जीके तथ्य
- 2024 में बिजली गिरने से भारत में लगभग 1,300 मौतें हुईं।
- FY25 में बिजली गिरने की घटनाएं 20 मिलियन से अधिक रहीं।
- 2015 में ओडिशा ने बिजली गिरने को राज्य विशेष आपदा घोषित किया था।
- बंगाल की खाड़ी का समुद्री तापमान 4°C बढ़ चुका है।
पूर्वानुमान और बचाव की चुनौतियां
IMD अब 86% सटीकता के साथ बिजली गिरने का पूर्वानुमान करता है, जिसमें 5 दिन पहले से क्षेत्रीय अलर्ट और घटना के दिन हर 3 घंटे में अपडेट शामिल हैं।
- समस्या यह है कि चेतावनियां अंतिम चरण (last-mile) तक समय पर नहीं पहुंच पातीं।
- कई राज्यों ने बिजली गिरने को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की मांग की है, लेकिन केंद्र सरकार जागरूकता से मौतें रोकने पर जोर देती है।
बचाव के प्रयास
- 10 राज्यों के 50 जिलों में ₹186 करोड़ का बिजली गिरने से नुकसान घटाने का प्रोजेक्ट लागू।
- DAMINI ऐप और व्हाट्सऐप ग्रुप्स के जरिए पंचायत स्तर पर रियल-टाइम अलर्ट।
- गांवों में “स्मार्ट पोल” स्थापित, जिनमें माइक, सीसीटीवी और लाउडस्पीकर लगे हैं।
- ओडिशा में 19 लाख ताड़ के पेड़ लगाने की योजना।