भारत का एआई स्किलिंग मिशन: स्कूली शिक्षा में भविष्य की तैयारी के लिए SOAR कार्यक्रम
भारत आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के क्षेत्र में वैश्विक नेतृत्व की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठा रहा है। जुलाई 2025 में कौशल विकास और उद्यमिता मंत्रालय (MSDE) द्वारा शुरू किया गया Skilling for AI Readiness (SOAR) कार्यक्रम इसी दिशा में एक ऐतिहासिक पहल है। यह पहल स्किल इंडिया मिशन की दसवीं वर्षगांठ के अवसर पर शुरू की गई है, जिसका उद्देश्य भारत की स्कूली शिक्षा और प्रशिक्षण प्रणाली में एआई शिक्षा को एकीकृत करना है।
छात्रों और शिक्षकों के लिए लक्षित एआई प्रशिक्षण
SOAR कार्यक्रम विशेष रूप से कक्षा 6 से 12 तक के छात्रों और देशभर के शिक्षकों को लक्षित करता है। छात्रों के लिए 15-15 घंटे के तीन मॉड्यूल और शिक्षकों के लिए 45 घंटे का एक विशेष मॉड्यूल तैयार किया गया है। इन पाठ्यक्रमों में कृत्रिम बुद्धिमत्ता और मशीन लर्निंग की मूलभूत अवधारणाएं, डेटा साक्षरता और तकनीक के नैतिक उपयोग को सिखाया जाता है।
इस कार्यक्रम का उद्देश्य न केवल छात्रों को डिजिटल रूप से सशक्त बनाना है, बल्कि उन्हें जिम्मेदार नवाचारकर्ता के रूप में तैयार करना भी है। शिक्षकों को प्रशिक्षित करके कक्षा शिक्षण में एआई आधारित टूल्स और आधुनिक शैक्षणिक तकनीकों को शामिल करने की दिशा में भी यह कदम अहम है।
आत्मनिर्भर भारत और भविष्य की नौकरियों की तैयारी
SOAR कार्यक्रम सरकार की आत्मनिर्भर भारत और विकसित भारत @2047 की दीर्घकालिक दृष्टि के साथ जुड़ा हुआ है। स्वास्थ्य, विनिर्माण, वित्त और शिक्षा जैसे क्षेत्रों में एआई के बढ़ते उपयोग के साथ, इन क्षेत्रों में प्रशिक्षित पेशेवरों की मांग भी तेजी से बढ़ी है। यह पहल यह सुनिश्चित करती है कि आने वाली पीढ़ी न केवल तकनीकी रूप से दक्ष हो, बल्कि एआई-प्रेरित भविष्य की नौकरियों के लिए भी तैयार हो।
शिक्षा में एआई के लिए केंद्र और बजटीय समर्थन
केन्द्र सरकार ने 2025–26 के बजट में कृत्रिम बुद्धिमत्ता के लिए उत्कृष्टता केंद्र की स्थापना के लिए ₹500 करोड़ आवंटित किए हैं। यह केंद्र एआई आधारित शिक्षण उपकरणों के विकास, भारतीय भाषाओं में बहुभाषी संसाधनों को बढ़ावा देने, और कक्षा शिक्षण में नवाचार को बढ़ाने का कार्य करेगा। इससे तकनीकी संस्थानों में एआई पाठ्यक्रमों का सुदृढ़ीकरण होगा और IITs व AICTE-अनुमोदित कॉलेजों की पहल को भी सहयोग मिलेगा।
खबर से जुड़े जीके तथ्य
- SOAR कार्यक्रम जुलाई 2025 में स्किल इंडिया मिशन की 10वीं वर्षगांठ पर शुरू हुआ।
- CBSE ने 2019–20 सत्र से कक्षा 9 में और 2020–21 से कक्षा 11 में एआई को विषय के रूप में शामिल किया।
- राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 में समकालीन विषयों जैसे एआई को स्कूली पाठ्यक्रम में शामिल करने पर जोर दिया गया है।
- 2022–23 से 2025–26 के बीच NAPS-2 के तहत 1,480 प्रशिक्षुओं को एआई संबंधित भूमिकाओं में प्रशिक्षित किया गया है।
SOAR कार्यक्रम भारत की शिक्षा प्रणाली में तकनीकी जागरूकता और नवाचार को बढ़ावा देने की दिशा में एक क्रांतिकारी प्रयास है। यह केवल छात्रों को एआई से परिचित नहीं कराता, बल्कि शिक्षकों को भी डिजिटल उपकरणों के उपयोग में दक्ष बनाता है।