प्रधानमंत्री धन-धान्य कृषि योजना के तहत 100 आकांक्षी कृषि ज़िलों की घोषणा

केंद्र सरकार ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री धन-धान्य कृषि योजना (PM Dhan-Dhaanya Krishi Yojana – PMDDKY) के तहत देशभर के 29 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में 100 आकांक्षी कृषि ज़िलों को विकसित करने की घोषणा की। इस योजना का उद्देश्य कृषि उत्पादकता बढ़ाने, फसल विविधीकरण को प्रोत्साहित करने और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सशक्त बनाना है।
राज्यों की सूची में उत्तर प्रदेश सबसे आगे
जारी सूची के अनुसार, उत्तर प्रदेश के 12 ज़िले इस योजना में शामिल किए गए हैं — महोबा, सोनभद्र, हमीरपुर, बांदा, जालौन, झांसी, उन्नाव, प्रयागराज, चित्रकूट, प्रतापगढ़, श्रावस्ती और ललितपुर।इसके बाद महाराष्ट्र के 9 ज़िले, मध्य प्रदेश और राजस्थान के 8-8 ज़िले, तथा बिहार के 7 ज़िले शामिल हैं।आंध्र प्रदेश, गुजरात, ओडिशा, तमिलनाडु, तेलंगाना और पश्चिम बंगाल से चार-चार ज़िले चयनित किए गए हैं। असम, छत्तीसगढ़ और केरल से तीन-तीन ज़िले, जबकि जम्मू-कश्मीर, झारखंड और उत्तराखंड से दो-दो ज़िले शामिल हैं।बाकी 11 राज्यों — अरुणाचल प्रदेश, गोवा, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, पंजाब, सिक्किम और त्रिपुरा — से एक-एक ज़िला चुना गया है।
आकांक्षी कृषि ज़िलों के चयन का आधार
संचालन दिशानिर्देशों के अनुसार, ज़िलों का चयन तीन प्रमुख मानकों पर किया गया है —
- कम कृषि उत्पादकता
- मध्यम फसल तीव्रता
- औसत से कम कृषि ऋण पहुँचकृषि भूमि क्षेत्र और परिचालन जोतों की संख्या को ध्यान में रखते हुए प्रत्येक राज्य के लिए ज़िलों की संख्या निर्धारित की गई है, ताकि क्षेत्रीय संतुलित विकास सुनिश्चित किया जा सके।
योजना के उद्देश्य और कार्यान्वयन
PMDDKY को आकांक्षी ज़िला कार्यक्रम की तर्ज़ पर तैयार किया गया है, लेकिन इसका फोकस विशेष रूप से कृषि क्षेत्र के विकास पर है। इसके पाँच मुख्य उद्देश्य हैं —
- कृषि उत्पादकता बढ़ाना
- फसल विविधीकरण और सतत कृषि प्रथाओं को अपनाना
- पंचायत और ब्लॉक स्तर पर फसलोत्तर भंडारण क्षमता को बढ़ाना
- सिंचाई सुविधाओं में सुधार
- लघु और दीर्घकालिक कृषि ऋण सुविधा को सुलभ बनाना
इस योजना के लिए अलग बजटीय प्रावधान नहीं होगा, बल्कि इसे 11 मंत्रालयों की 36 योजनाओं के समन्वय (convergence) से लागू किया जाएगा। इनमें से 19 योजनाएँ कृषि एवं किसान कल्याण विभाग की होंगी। अनुमान है कि योजना के तहत हर वर्ष लगभग ₹24,000 करोड़ के कार्य किए जाएंगे।
निगरानी और प्रशासनिक व्यवस्था
केंद्र ने इस योजना की प्रभावी निगरानी के लिए 100 केंद्रीय नोडल अधिकारी (CNOs) नियुक्त किए हैं, जिनमें से अधिकांश संयुक्त सचिव स्तर के अधिकारी होंगे। ये अधिकारी चयनित ज़िलों में योजना की प्रगति की निगरानी करेंगे।
खबर से जुड़े जीके तथ्य
- PMDDKY का उद्देश्य “समृद्ध किसान, सशक्त कृषि” के विज़न को साकार करना है।
- यह योजना आकांक्षी ज़िला कार्यक्रम (ADP) के मॉडल पर आधारित है, जिसे 2018 में नीति आयोग ने शुरू किया था।
- कृषि क्षेत्र में यह पहल भारत के सतत विकास लक्ष्य (SDGs) को प्राप्त करने की दिशा में एक प्रमुख कदम मानी जा रही है।
- अनुमानतः योजना से करीब 10 करोड़ ग्रामीण लोगों को प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष लाभ मिलने की संभावना है।