दुर्लभ पृथ्वी तत्व: वैश्विक तकनीकी और भू-राजनीतिक प्रतिस्पर्धा का केंद्र
हाल ही में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच दक्षिण कोरिया में संपन्न हुए शिखर सम्मेलन में एक महत्वपूर्ण समझौता हुआ, जिसके तहत चीन से दुर्लभ पृथ्वी तत्वों (Rare Earth Elements) का निर्यात जारी रखने पर सहमति बनी। यह समझौता वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला के लिए अत्यंत महत्त्वपूर्ण माना जा रहा है।
दुर्लभ पृथ्वी तत्व क्या हैं?
दुर्लभ पृथ्वी तत्व कुल 17 होते हैं, जिनमें 15 लैन्थेनाइड धातुएँ, साथ ही स्कैन्डियम और इट्रियम शामिल हैं। ये सभी सामान्यतः सिल्वर-व्हाइट रंग की धातुएँ होती हैं, जो पृथ्वी की पपड़ी में अत्यल्प मात्रा में पाई जाती हैं। इनकी पहचान वैज्ञानिक दृष्टिकोण से तो वर्षों पहले हुई थी, लेकिन इनकी तकनीकी और औद्योगिक महत्ता अब वैश्विक स्तर पर सुर्खियों में है।
उपयोग कहां होता है?
इन तत्वों का उपयोग स्मार्टफोन, वाशिंग मशीन, इलेक्ट्रिक वाहन, चिकित्सा उपकरण, तेल परिष्करण, और उन्नत सैन्य तकनीक (जैसे मिसाइल, रडार, F-35 फाइटर जेट) में होता है। विशेषकर रेयर अर्थ मैग्नेट आधुनिक तकनीक का अहम घटक बन चुके हैं। इन तत्वों के बिना वैश्विक आपूर्ति श्रृंखला में गंभीर रुकावट आ सकती है, जैसा कि हाल ही में चीन के निर्यात नियंत्रण के बाद वाहन निर्माताओं को उत्पादन रोकना पड़ा।
क्या ये वास्तव में दुर्लभ हैं?
नाम के विपरीत, ये तत्व दुर्लभ नहीं हैं; कुछ तो सीसे से भी अधिक मात्रा में पाए जाते हैं। लेकिन ये पृथ्वी की सतह पर बहुत पतले और मिश्रित रूप में फैले होते हैं, जिससे इनकी खुदाई और शुद्धिकरण बेहद कठिन और महंगा होता है।
वैश्विक उत्पादन और चीन की भूमिका
हालांकि 1950 के दशक में अमेरिका ने रेयर अर्थ शोधन की तकनीक विकसित की थी, लेकिन 1980 के बाद से चीन ने इस क्षेत्र में वैश्विक प्रभुत्व हासिल कर लिया। आज चीन वैश्विक खनन उत्पादन का लगभग 60% और शुद्धिकरण व मैग्नेट उत्पादन का 90% से अधिक नियंत्रित करता है। अमेरिका, यूरोप और ऑस्ट्रेलिया में वैकल्पिक आपूर्ति श्रृंखला विकसित करने के प्रयास चल रहे हैं, लेकिन व्यावसायिक स्तर पर परिणाम आने में वर्षों लग सकते हैं।
खबर से जुड़े जीके तथ्य
- रेयर अर्थ तत्वों में स्कैन्डियम, इट्रियम, लैंथेनम, सिरीयम, नियोडिमियम, डाइस्प्रोसियम जैसे तत्व शामिल हैं।
- इन तत्वों की शुद्धिकरण प्रक्रिया में एसिड और विषाक्त सॉल्वेंट्स का प्रयोग होता है, जिससे पर्यावरण और स्वास्थ्य पर गंभीर प्रभाव पड़ता है।
- कुछ तत्वों में रेडियोधर्मी यूरेनियम या थोरियम भी पाया जाता है, जिससे इनकी खुदाई और प्रसंस्करण में कड़े पर्यावरणीय नियमों का पालन आवश्यक होता है।
रेयर अर्थ तत्वों की भूमिका आज केवल तकनीकी विकास तक सीमित नहीं है, बल्कि यह वैश्विक भू-राजनीति, आपूर्ति श्रृंखला सुरक्षा, और पर्यावरणीय नीतियों से भी सीधे जुड़ी हुई है। भारत जैसे देश जहां तकनीकी निर्भरता बढ़ रही है, वहां इन तत्वों की आपूर्ति और वैकल्पिक स्रोतों की खोज अत्यंत महत्वपूर्ण हो गई है।