गुजरात में बना e-VITARA: भारत के ईवी युग की नई शुरुआत

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को गुजरात के हंसलपुर में मारुति-सुज़ुकी की पहली बैटरी इलेक्ट्रिक वाहन (BEV) “e-VITARA” और लिथियम-आयन बैटरी उत्पादन सुविधा का उद्घाटन किया। यह अवसर न केवल भारत-जापान साझेदारी को एक नई ऊँचाई पर ले गया, बल्कि ‘मेक इन इंडिया’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ अभियानों की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम भी साबित हुआ।
भारत में निर्मित ईवी: वैश्विक बाज़ार की ओर
e-VITARA को ‘मेक इन इंडिया, मेक फॉर द वर्ल्ड’ दृष्टिकोण के तहत लॉन्च किया गया है। यह इलेक्ट्रिक SUV दो प्रकार की लीथियम-आयन बैटरी विकल्पों में उपलब्ध है — 49 kWh और 61 kWh — और फ्रंट-व्हील ड्राइव व ऑल-व्हील ड्राइव दोनों वेरिएंट में मिलेगी। इसके फीचर्स में आधुनिक LED हेडलैम्प्स, 360 डिग्री कैमरा, पैनोरमिक सनरूफ, एडवांस ड्राइवर असिस्टेंस सिस्टम (ADAS), और JBL प्रीमियम ऑडियो सिस्टम शामिल हैं।
इस SUV की सबसे खास बात यह है कि इसे भारत में निर्मित कर 100 से अधिक देशों में निर्यात किया जाएगा, जिनमें जापान और यूरोप जैसे तकनीकी अग्रणी देश भी शामिल हैं। इससे भारत को इलेक्ट्रिक वाहन विनिर्माण के वैश्विक केंद्र के रूप में स्थापित करने में मदद मिलेगी।
बैटरी उत्पादन: आत्मनिर्भरता की ओर एक और कदम
प्रधानमंत्री ने TDSG (Suzuki-Toshiba-Denso) लिथियम-आयन बैटरी निर्माण इकाई का भी उद्घाटन किया, जो हाइब्रिड बैटरी इलेक्ट्रोड का स्थानीय स्तर पर निर्माण करेगी। अनुमानतः यहां उत्पादित 80% बैटरियाँ पूर्ण रूप से भारत में बनी होंगी, जिससे आयात पर निर्भरता घटेगी और देश की ऊर्जा सुरक्षा को मजबूती मिलेगी।
प्रधानमंत्री ने इस अवसर पर कहा कि विदेशी निवेश चाहे कहीं से भी आए, जब मेहनत भारतीय हो और उत्पादन भारत में हो, तभी वह असली ‘स्वदेशी’ कहलाता है।
खबर से जुड़े जीके तथ्य
- e-VITARA मारुति-सुज़ुकी की पहली बैटरी इलेक्ट्रिक SUV है जो भारत में निर्मित होकर विश्वभर में निर्यात की जाएगी।
- हंसलपुर प्लांट की नींव 13 वर्ष पहले रखी गई थी और अब यह संयंत्र भारत के ऑटोमोटिव विकास में अहम भूमिका निभा रहा है।
- TDSG संयंत्र, भारत में इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए बैटरी उत्पादन का एक बड़ा केंद्र बनने जा रहा है।
- भारत सरकार ने ‘नेशनल क्रिटिकल मिनरल मिशन’ की शुरुआत की है, ताकि ऑटो उद्योग के लिए दुर्लभ खनिजों की उपलब्धता सुनिश्चित की जा सके।
आर्थिक और तकनीकी विकास का समन्वय
प्रधानमंत्री मोदी ने इस अवसर पर भारत की लोकतांत्रिक व्यवस्था, जनसांख्यिकीय लाभ और कुशल श्रमबल को निवेश के लिए आदर्श बताया। उन्होंने यह भी बताया कि इलेक्ट्रॉनिक्स उत्पादन में 2014 से अब तक 500% की वृद्धि हुई है, मोबाइल निर्माण में 2,700% और रक्षा उत्पादन में 200% की।
गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने भी इस उपलब्धि को राज्य के औद्योगिक इतिहास का स्वर्णिम अध्याय बताया, जबकि जापान के राजदूत और सुज़ुकी मोटर कॉर्पोरेशन के अध्यक्ष ने इसे भारत-जापान संबंधों का एक नया मील का पत्थर माना।
इस नई शुरुआत के साथ, भारत न केवल हरित ऊर्जा की दिशा में अग्रसर है, बल्कि विश्व के लिए एक भरोसेमंद उत्पादन केंद्र बनने की ओर भी कदम बढ़ा रहा है।