ओडिशा में सात नए गति शक्ति मल्टी मॉडल कार्गो टर्मिनल विकसित होंगे
ओडिशा अपने लॉजिस्टिक्स और औद्योगिक बुनियादी ढांचे को और मजबूत करने की दिशा में बड़ा कदम उठाने जा रहा है। राज्य में सात नए गति शक्ति मल्टी मॉडल कार्गो टर्मिनलों के विकास को मंजूरी दी गई है। यह पहल प्रधानमंत्री गति शक्ति फ्रेमवर्क के तहत माल परिवहन की दक्षता बढ़ाने, लॉजिस्टिक्स लागत घटाने और बहु-माध्यमीय कनेक्टिविटी को सुदृढ़ करने के राष्ट्रीय प्रयासों का हिस्सा है।
रेल मंत्री की घोषणा और विस्तार की योजना
रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने 12 दिसंबर 2025 को राज्यसभा में इस विस्तार की घोषणा की। उन्होंने बताया कि ओडिशा के लिए सात अतिरिक्त गति शक्ति कार्गो टर्मिनलों को स्वीकृति दी गई है। इससे पहले राज्य में ऐसे 10 कार्गो टर्मिनल पहले ही चालू किए जा चुके हैं। नए टर्मिनलों के जुड़ने से विभिन्न जिलों में माल ढुलाई को गति मिलेगी और औद्योगिक विकास को नई मजबूती मिलने की उम्मीद है।
लॉजिस्टिक्स और औद्योगिक आपूर्ति श्रृंखला को बढ़ावा
अधिकारियों के अनुसार नए कार्गो टर्मिनल ओडिशा की औद्योगिक आपूर्ति श्रृंखला को सशक्त बनाने में अहम भूमिका निभाएंगे। मौजूदा टर्मिनलों से सीमेंट, इस्पात, खनन और विनिर्माण जैसे क्षेत्रों को पहले ही लाभ मिलना शुरू हो चुका है। सात नए टर्मिनलों के साथ राज्य की लॉजिस्टिक्स क्षमता में उल्लेखनीय वृद्धि होगी, जिससे माल की आवाजाही तेज और अधिक किफायती बन सकेगी।
गति शक्ति कार्गो टर्मिनल नीति की विशेषताएं
गति शक्ति मल्टी मॉडल कार्गो टर्मिनल नीति की शुरुआत दिसंबर 2021 में की गई थी। इसका उद्देश्य भारतीय रेलवे नेटवर्क पर कार्गो अवसंरचना के विकास में निजी और सार्वजनिक भागीदारी को प्रोत्साहित करना है। इस नीति के तहत मंजूरी प्रक्रिया को सरल बनाया गया है और रेलवे भूमि पर कनेक्टिविटी के लिए विभागीय शुल्क तथा भूमि लाइसेंस फीस में छूट दी जाती है। साथ ही, संबंधित स्टेशनों पर सामान्य उपयोग की सुविधाओं का निर्माण और रखरखाव रेलवे द्वारा किया जाता है, जिससे ऑपरेटरों पर वित्तीय बोझ कम होता है।
सफल मॉडल और राष्ट्रीय प्रभाव
ओडिशा में गति शक्ति परियोजनाओं की सफलता का एक उदाहरण जाजपुर जिले के जखापुरा में स्थापित कार्गो टर्मिनल है, जिसे ईस्ट कोस्ट रेलवे के तहत विकसित किया गया है। लगभग 36.85 करोड़ रुपये की लागत से बने इस टर्मिनल की क्षमता प्रतिमाह करीब 86 रेक संभालने की है और यहां आवक तथा जावक दोनों तरह के थोक माल का प्रबंधन किया जाता है। रेलवे अधिकारियों का मानना है कि ऐसे प्रोजेक्ट्स प्रधानमंत्री गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान के अनुरूप हैं, जिसका लक्ष्य भारत को वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्धी लॉजिस्टिक्स हब बनाना है।
खबर से जुड़े जीके तथ्य
- गति शक्ति कार्गो टर्मिनल नीति दिसंबर 2021 में शुरू की गई थी।
- ओडिशा में पहले ही 10 गति शक्ति कार्गो टर्मिनल चालू हो चुके हैं।
- देशभर में अब तक 120 गति शक्ति कार्गो टर्मिनल स्थानों को कमीशन किया जा चुका है।
- पीएम गति शक्ति का फोकस एकीकृत बहु-माध्यमीय कनेक्टिविटी पर है।
कुल मिलाकर, ओडिशा में सात नए गति शक्ति मल्टी मॉडल कार्गो टर्मिनलों का विकास राज्य की औद्योगिक और लॉजिस्टिक्स क्षमता को नई ऊंचाइयों तक ले जाने वाला कदम है। यह न केवल माल परिवहन को अधिक कुशल बनाएगा, बल्कि रोजगार, निवेश और आर्थिक विकास को भी गति देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।